उत्तरी हरिद्वार की बेशकिमती 56 बीघा जमीन एक बार फिर से चर्चा में

हरिद्वार

हरिद्वार । भोपतवाला दुधाधारी चौक स्थित 56 बीघा जमीन एक बार फिर से चर्चा में है। शहर के चर्चित व्यवसाई तोष जैन व उसकी पत्नी मोनिका जैन पर अवैध रूप से 56 बीघा जमीन को बेचने का आरोप लगा है।

मंगलवार को प्रेस क्लब हरिद्वार में पक्षकार अरुण कुमार के अधिवक्ता अरविंद श्रीवास्तव ने पत्रकार वार्ता कर तोष जैन और मोनिका जैन पर दूधाधारी चौक स्थित अरबों की संपत्ति को अवैध तरीके से बेचे जाने के आरोप लगाए हैं। साथ श्रीवास्तव ने जिला प्रशासन से जमीन को खुर्द बुर्द किए जाने से रोकने की मांग करते हुए आरोपी दंपति के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की मांग की है।

अरविंद श्रीवास्तव का कहना है कि अरुण कुमार का खसरा नंबर 4/28 व 4/ 27 भूपतवाला की एक संपत्ति को लेकर विवाद कोर्ट में विचाराधीन है। श्रीवास्तव का आरोप हैं कि मामला कोर्ट में विचाराधीन होने के पश्चात भी तोष जैन और मोनिका जैन द्वारा उसे संपत्ति को कुछ भूमाफियों को बेच दिया गया है। जोकि मौके पर अवैध रूप से कब्जा करने का प्रयास कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि उक्त जमीन को लेकर 2010 के मुकदमे में 2011 को अरुण कुमार और मोनिका जैन के बीच एक राजीनामा हुआ था। जिसमें दोनों पक्षों में जमीन आधी आधी बाटी गई थी, लेकिन आरोप हैं कि बाद में मोनिका जैन व तोष जैन के नियत में खोट आ गया, जिस कारण अरुण कुमार ने पुनः एक वाद न्यायालय हरिद्वार में वाद संख्या 165/ 2024 दायर किया हुआ है।

उन्होंने बताया कि जैन दंपति के खिलाफ धोखाधड़ी करने के आरोप में एक मुकदमा थाना पीलीबंगा ,जिला हनुमानगढ़ राजस्थान में 2021 में दर्ज हुआ था। इन्ही आरोपों के चलते जैन दंपति जेल गए थे।

आरोप है कि तोष कुमार जैन द्वारा संत दयाल दास के अटूट विश्वास को तोड़कर 40 करोड़ की संपत्ति को 20 लाख रुपए में अपनी पत्नी मोनिका जैन के नाम की गई, जबकि उनकी पॉवर अटॉर्नी 7. 9. 2001 को ही खत्म हो चुकी थी, बावजूद उन्होंने उक्त संपत्ति को गलत तरीके से अपनी पत्नी के नाम किया था। जिससे डेरे के ऊपर 25 करोड़ से ज्यादा का टैक्स भी आया हुआ है। जिसका मुकदमा भी चल रहा है।

उनका आरोप हैं कि अरुण , कृष्ण पाल और नायब सिंह के नाम दिसंबर 2009 में संत दलबीरी दास ने रजिस्ट्री की थी। जिस पर स्टांप ड्यूटी कम लगाने का केस कमिश्नर के यहां विचारधीन है ।

अब ऐसे में जैन दंपति द्वारा कोर्ट में मामला विचार अधीन होने के बाद कुछ दिल्ली के भूमाफिया को बेचा जा रहा है। संपत्ति का एग्रीमेंट किए जाने का दावा करते हएु अधिवक्ता अरविंद श्रीवास्तव ने प्रेस वार्ता कर शासन- प्रशासन से संपति को बचाने की गुहार लगाई है।

धार्मिक संपत्ति के साथ-साथ कुंभ मेला लैण्ड से संबंधित हैं करोड़ों की बेशकिमती भूमि,

पहले भी कई बार किए जा चुके हैं बेचने के प्रयास

सूत्रों के मुताबिक दूधाधारी के पास खाली पड़ा बेशकिमती भूखण्ड न सिर्फ धार्मिक संपत्ति हैं बल्कि इस संपत्ति को मेला लैंड के रूप में भी जाना जाता हैं। 2016 में भी उत्तरी हरिद्वार स्थित इस संपत्ति के मामले में भी राजस्व विभाग ने जांच की थी। राजस्व विभाग की टीम ने जांच में स्पष्ट उल्लेंख किया हुआ हैं कि दूधाधारी स्थित संपत्ति का क्रय-विक्रय नही किया जा सकता हैं।
बताया जा रहा हैं कि उत्तरी हरिद्वार स्थित कथित कुंभ मेला लैंड को बेचने का प्रयास कई बार किया जा चुका हैं। लेकिन हर बार तोष जैन व मोनिका जैन इस संपत्ति को विक्रय करने में असफल रहे हैं।

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