मनी ट्रांसफर कंपनी कर्मचारी ही निकला लूट का मास्टरमाइंड
बीते बुधवार को दिनदहाड़े भेल सेक्टर-2 के समीप मनी ट्रांसफर कंपनी के कर्मचारियों से हुई चौदह लाख पचास हजार की लूट का खुलासा करते हुए पुलिस ने कंपनी के कर्मचारी सहित चार लोगों को गिरफ्तार किया है। लूट का मास्टरमाइंड कंपनी का कर्मचारी ही निकला हैं। मनी ट्रांसफर कंपनी कर्मचारी ने ही अपने साथियों के साथ मिलकर लूट की योजना बनाई थी। पुलिस की शक की सुंई घटना के बाद से ही कंपनी कर्मचारियों के इर्द-गिर्द ही घूम रही थी। इसलिए पुलिस कर्मचारियों से लगातार पूछताछ कर रही थी। कर्मचारियों के बार-बार बयानों के बदलने से पुलिस की राह आसान होती चली गई और आखिरकार पुलिस ने लूट की गुत्थी को सुलझा लिया। पुलिस ने बदमाशों को गिरफ्तार करने के साथ ही लूटी गयी रकम में से आरोपियों के पास से 13 लाख 60 हजार रूपए बरामद किए हैं। गुरुवार को पूरे मामले में खुलासा करते हुए वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने बताया कि इस वारदात का मास्टरमाइंड कंपनी का कर्मचारी ही निकला है।
प्रेसवार्ता में वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह ने बताया कि घटना के खुलासे के लिए पुलिस टीम के साथ-साथ सीआईयू टीम का गठन बदमाशों की तलाश के लिए किया गया। जांच पड़ताल के दौरान एक महत्वपूर्ण तथ्य प्रकाश में आया कि कंट्रोल रूम को सूचना देने वाली महिला पुलिस कर्मी को एजेंसी के एक कर्मचारी ने प्रारंभिक सूचना के तौर पर केवल इतना बताया था कि उसका बैग जिसमें उसके दस्तावेज व कुछ रुपए रखे थे। जिसको अज्ञात बाइक सवारों द्वारा छीन लिया गया। इसके अलावा एक महत्वपूर्ण तथ्य यह भी प्रकाश में आया कि एजेंसी कर्मचारियों द्वारा घटना घटित होने के पश्चात करीब 20 मिनट तक किसी से भी सम्पर्क नही किया तथा प्रारम्भिक सूचना देने के बाद मौके पर पहुंचे चेतक कर्मियों द्वारा गहनता से पूछताछ करने पर करीब 20 मिनट बाद उक्त कर्मचारी ने सही जानकारी देते हुए नगदी लूटे जाने सहित अन्य जानकारी दी।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने बताया कि घटनाक्रम में एजेंसी कर्मचारी राहुल त्यागी पुत्र शिव कुमार निवासी ग्राम थल मिनादपुर थाना स्याना जिला बुलन्दशहर यूपी हाल निवासी शिवालिक नगर हरिद्वार की भूमिका संदिग्ध प्रकट होने पर पुलिस टीम ने उससे अलग-अलग एंगल से सख्ती के साथ पूछताछ करते हुए हर सवाल पर दिए गए जवाब को गहराई से परखा। क्रॉस एग्जामिनेशन में अपने ही बताए तथ्यों में उलझने के पश्चात आखिरकार अभियुक्त ने सारे घटनाक्रम में अपनी भूमिका व अन्य किरदारों से पर्दा उठा दिया। पूछताछ के बाद सामने आया कि गोयल मनीट्रांसफर में बतौर कैश लोडर कार्यरत राहुल त्यागी पैसे बैंक से खुद ही लाता था। राहुल त्यागी ने अपने एक दोस्त मोनू पाल पुत्र बीर सिंह निवासी अमित विहार कालोनी कूकडा थाना नई मण्डी जिला मुज्जफर नगर उत्तर प्रदेश हाल निवासी रावली महदूद हरिद्वार से काम के सिलसिले में हुई बातचीत के दौरान उक्त रकम को लूटने का प्लान बनाया और फिर मोनू पाल ने अपने दोस्तों सोमित पाल पुत्र बीर सिंह निवासी अलमासपुर थाना नई मण्डी मुज्जफर नगर उ.प्र. और सागर पुत्र सुखपाल निवासी बचन सिंह कालोनी थाना नई मण्डी मुज्जफर नगर को योजना में शामिल किया।
बताया कि घटना वाले दिन राहुल त्यागी अपने सहकर्मी गौरव के साथ बन्धन बैंक ज्वालापुर से 14 लाख 50 हजार रूपये नगद लेकर निकला तो योजना के मुताबिक राहुल त्यागी ने फेसबुक मैसेन्जर के माध्यम से मोनू को सूचना दी। जब कर्मचारी भेल सेक्टर 2 गुरूद्वारे के पास पहुंचे तो बाइक पर सवार मोनू पाल, सोमितपाल व सागर रकम से भरा बैग छीनकर भाग गये। पुलिस टीम ने राहुत त्यागी को हिरासत में लेकर उसकी निशांदेही पर घटना में शामिल अन्य अभियुक्त मोनू पाल, सोमित पाल व सागर को तलाशते हुए महिपालपुर दिल्ली पहुंची तो सीसीटीवी फुटेज में अभियुक्त एक होटल में जाते दिखाई दिये। होटल में पूछताछ करने पर पता चला कि तीनों चैक आउट कर कहीं और जा चुके हैं। टीम ने पुनः प्रयास करते हुए तीनों को मुजफ्फरनगर से गिरफ्तार कर उनके कब्जे से लूटी गई रकम में से 13 लाख 60 हजार रूपये बरामद कर लिए। बाकी रकम आरोपी खर्च कर चुके थे।